रायगढ़: तोलगे ग्राम में भ्रष्टाचार का गहरा जाल: सरपंच, सचिव और ठेकेदार की मिलीभगत से विकास योजनाओं का भंडाफोड़
रायगढ़, छत्तीसगढ़: तोलगे ग्राम में पिछले 5 वर्षों में हुए भारी भ्रष्टाचार ने ग्रामवासियों को परेशान कर दिया है। ग्रामवासियों ने कलेक्टर को एक पत्र लिखकर इस भ्रष्टाचार के खिलाफ शिकायत की है। शिकायत में सरपंच, सचिव और ठेकेदार के बीच मिलीभगत की बात कही गई है, जो गांव में बोर खनन, तालाब खनन और भवन निर्माण जैसे कार्यों को अधूरा और घटिया तरीके से अंजाम दे रहे हैं।
पत्र के अनुसार, इतने सालों में गांव में कोई भी कार्य सही तरीके से नहीं हुआ है, और अगर हुए भी हैं तो बहुत ही घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया है। सरपंच, सचिव और ठेकेदार मिलकर सरकारी पैसे की चोरी कर रहे हैं और गांव के विकास को नष्ट कर रहे हैं।
ग्रामवासियों का कहना है कि इस भ्रष्टाचार से सिर्फ तोलगे ग्राम ही नहीं, बल्कि आसपास के अन्य गांवों पर भी प्रतिकूल असर पड़ रहा है। उन्होंने कलेक्टर से जांच की मांग की है ताकि इस बड़े भ्रष्टाचार का पर्दाफाश किया जा सके।
एक ग्रामीण ने अपने आवेदन में बताया कि पंचायत में एक प्रस्ताव तैयार किया जाता है, जिसे ठेकेदार के कहने पर सरपंच और सचिव मंजूरी देते हैं। इसके बाद, ठेकेदार कम गुणवत्ता वाली सामग्रियों का उपयोग करता है, जिससे लाखों रुपयों की बचत होती है, और सरकारी काम में भारी गड़बड़ी की जाती है।
ग्रामवासियों का आरोप है कि यह भ्रष्टाचार एक खेल बन चुका है, जिसमें ठेकेदार, सरपंच और सचिव ने गांव के विकास के नाम पर अपनी जेबें भर ली हैं। उनका कहना है कि यदि कलेक्टर द्वारा एक जांच समिति गठित की जाए, तो और भी कई काले कारनामे सामने आ सकते हैं।
सरपंच और सचिव के भ्रष्टाचार के कारण तोलगे ग्राम में विकास की संभावनाएं पूरी तरह से नष्ट हो गई हैं, और ग्रामवासी न्याय की उम्मीद में जांच के लिए कलेक्टर से मदद की अपील कर रहे हैं।
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